देश भक्ति संस्कार वाद और राष्ट्र निर्माण की प्रबल व स्वच्छ मानसिकता को बढ़ावा देने के लिए जमात उलमा -ए- हिंद द्वारा एक विशाल संगोष्ठी का मालापुराम में आयोजन किया गया,

 देश भक्ति संस्कार वाद और राष्ट्र निर्माण की प्रबल व स्वच्छ मानसिकता को बढ़ावा देने के लिए जमात उलमा -ए- हिंद द्वारा एक विशाल संगोष्ठी का मालापुराम में आयोजन किया गया, 

बेताब समाचार एक्सप्रेस के लिए मुस्तकीम मंसूरी की रिपोर्ट

केरला में मुस्लिम संगठन, जमात उलेमा-ए-हिंद द्वारा राष्ट्रवाद के संकेत एक भारत, श्रेष्ठ भारत, अखंड भारत, 

केरल के मालापुराम में विरोधी वातावर्ण को नकेल कसने और देश भक्ति, संस्कारवाद और राष्ट्र निर्माण की   प्रबल व स्वच्छ मानसिकता को बढ़ावा देने के लिए जमात उलेमा-ए-हिंद द्वारा एक विशाल संगोष्ठी का  मालापुराम में आयोजन किया गया जिसमें रमज़ान और ईद के लिए समाज के निर्धन तबक़ों को किट (सामान) भी बांटने का शुभ कार्य  अंजाम पाया। 




बक़ौल मौलाना सुहैब कासमी, अध्यक्ष, जमात उलेमा-ए-हिंद, इस ऐतिहासिक संगोष्ठी का अभिप्राय एक भारत, श्रेष्ठ भारत, अखंड भारत की विचारधारा को सांप्रदायिक रूप से क्षतिग्रस्त केरल को संस्कारवाद, देश भक्ति व राष्ट्रवाद के मार्ग पर अग्रसर करना है और साथ ही साथ यहां समाज के सभी तबक़ों के बीच समरस्ता, सद्भाव व समभाव को प्रेरित करना है, जो कि इस्लाम व हज़रत मुहम्मद (सल्लo) की मूल भावना को भी सही मानों में दर्शाना है! इस अवसर पर मुख्य अतिथि, मौलाना आज़ाद के वंशज और मानू, हैदराबाद के पूर्व कुलाधिपति व मुखर वक्ता, फ़िरोज़ बख़्त अहमद ने कहा कि समय-समय पर केरल से देश विरोधी और समाज को तोड़ने वाली गतिविधियां व बयान देखने और सुनने को मिलते हैं, जिनमें संघ और भाजपा के कई नेताओं पर क़ातिलाना हमले और हत्याओं की हृदय विदारक खबरें प्रचार माध्यमों द्वारा प्राप्त होती हैं, जो इस्लाम के उस उसूल के बिल्कुल विपरीत है, जिसमें कहा गया है, "हब्बुल वतनी, निस्फुल ईमान!" अर्थात, "वतन से मुहब्बत आधा ईमान है!" 

बख़्त ने कहा कि जहां कुछ उलेमा भारत को "दारुल हरब". अर्थात ऐसा देश जो ग़ैर मुस्लिम द्वारा शासित है, मौलाना आज़ाद ने उसी भारत को "दारुल अमन" की उपाधि दी है, अतः यह हम सब का फ़र्ज़ है कि हम इन बातों को अपने जीवन में उतारें। 

संगोष्ठी में जमात उलेमा-ए-हिंद के केरल के मुख्य ज़िम्मेदारान में मुहम्मद सुहल फ़ैज़ी, अब्दुल अज़ीज़, ज़ैनुल आबिद बक़वी, डाo फसलू मदनी, मुहम्मद फारूक, एoपीo अबुताहिर मदनी, मुहम्मद अबु हनीफा, मौलवी केoकेo हनीफा, डाo केoकेo परीथ मौलवी और केरल की जानी-मानी हस्तियां भी उपस्थित थीं। अंत में सभी दो हज़ार मौजूद लोगों द्वारा प्रण लिया गया कि सभी एक भारत, श्रेष्ठ भारत और अखंड भारत के सपने को साकार कर इसे विश्व गुरु और ५ ट्रिलियन डॉलर अर्थ व्यवस्था बनाएंगे।

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